'पीएफआई सदस्यों के सिमी, इंडियन मुजाहिदीन कनेक्शन'

Story by  एटीवी | Published by  [email protected] | Date 27-09-2022
'पीएफआई सदस्यों के सिमी, इंडियन मुजाहिदीन कनेक्शन'
'पीएफआई सदस्यों के सिमी, इंडियन मुजाहिदीन कनेक्शन'

 

नई दिल्ली.

राष्ट्रीय जांच एजेंसी (एनआईए) के सूत्रों का दावा है कि पीएफआई के कई सदस्य पहले स्टूडेंट्स इस्लामिक मूवमेंट ऑफ इंडिया और इंडियन मुजाहिदीन जैसे प्रतिबंधित संगठनों से जुड़े थे.

सूत्रों ने ये दावा किया। पीएफआई नेता अब्दुल रहमान कथित तौर पर सिमी के राष्ट्रीय सचिव हुआ करते थे, उन्होंने कहा कि पीएफआई में राज्य सचिव अब्दुल सत्तार भी इसी तरह की क्षमता में सिमी से जुड़े थे.

सूत्रों ने यह भी दावा किया कि पीएफआई नेता कथित तौर पर पाकिस्तान स्थित आकाओं के साथ मिलकर देश विरोधी गतिविधियों को अंजाम देने की साजिश रच रहे थे.

सूत्रों ने कहा कि उन्हें खाड़ी और मध्य पूर्वी देशों से भी निर्देश मिल रहे थे. सूत्रों के मुताबिक, पीएफआई के सदस्य मोहम्मद साकिब ने कथित तौर पर पाकिस्तान से हवाला चैनलों के जरिए पीएफआई को पैसे भेजे और कथित तौर पर पाकिस्तान स्थित आकाओं के संपर्क में थे, जो विभिन्न जेलों में बंद पाकिस्तानी कैदियों तक पहुंचना चाहते थे.

सूत्रों ने कहा कि तब साकिब का एक दोस्त एस इस्माइल कथित तौर पर उन लोगों के लिए काम कर रहा था जो भारत में आईएसआईएस गतिविधियों का समर्थन कर रहे थे.

उन्होंने यह भी दावा किया कि हवाला का बहुत सारा पैसा राष्ट्र विरोधी गतिविधियों के लिए भारत में डाला गया और इसे केरल के प्रोफेसर टी.जे. जोसेफ की जघन्य हत्या से जोड़ा गया, जिन पर इस्लाम का अपमान करने और 2013 में पीएफआई को कई राजनीतिक हस्तियों की हत्या का आरोप लगाया गया था.

फिलहाल एनआईए पीएफआई से जुड़े कुल 19 मामलों की जांच कर रही है. एनआईए ने कहा है कि लगभग 46 आरोपी जिन्हें पहले गिरफ्तार किया गया था, उन्हें 2010-11 के मामलों में दोषी ठहराया गया था.

पीएफआई के करीब 355 सदस्यों के खिलाफ एजेंसी पहले ही चार्जशीट कर चुकी है.