लखनऊ. ऑल इंडिया मजलिस-ए-इत्तेहादुल मुस्लिमीन (एआईएमआईएम) ने उत्तर प्रदेश में 2022 का विधानसभा चुनाव लड़ने के इच्छुक उम्मीदवारों से आवेदन मांगना शुरू कर दिया है. आवेदन निर्धारित प्रपत्र में होगा और इसमें एक लॉयल्टी अनुबंध भी शामिल होगा.
‘वफादारी अनुबंध’ में कहा गया है कि टिकट ना मिलने की स्थिति में भी आवेदक पार्टी के लिए ईमानदारी से काम करते हुए चुनाव में पार्टी के लिए प्रचार करेगा.
आवेदकों को फॉर्म के साथ 10,000 रुपये का आवेदन शुल्क भी देना होगा.
एआईएमआईएम के प्रदेश अध्यक्ष शौकत अली ने कहा, “हमने उत्तर प्रदेश में 100 मुस्लिम बहुल सीटों पर चुनाव लड़ने का मन बना लिया है और समान विचारधारा वाले दलों के साथ संभावित गठबंधन को लेकर भी चर्चा हुई है. हालांकि इस पर कोई अंतिम फैसला नहीं लिया गया है. फिर भी हमारे लिए सपा और बसपा दोनों के दरवाजे खुले हैं.”
उन्होंने कहा कि टिकट वितरण पर अंतिम फैसला एआईएमआईएम प्रमुख असदुद्दीन ओवैसी करेंगे, जिसके लिए वह जल्द ही राज्य का दौरा करेंगे.
यूपी में हाल ही में हुए पंचायत चुनावों में एआईएमआईएम ने अखिलेश यादव के निर्वाचन क्षेत्र आजमगढ़ और उपमुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य के गृहनगर प्रयागराज में अच्छा प्रदर्शन किया है.
इस बीच 2015 में, एआईएमआईएम ने जिला पंचायत चुनावों में चार सीटें जीती थीं. यूपी पंचायत चुनाव में एआईएमआईएम का ग्राफ चढ़ने से पार्टी कार्यकर्ताओं का मनोबल बढ़ा है.
इससे पहले 2017 में एआईएमआईएम ने विधानसभा चुनाव में 38 सीटों पर अपने उम्मीदवार उतारे थे लेकिन एक भी सीट नहीं जीत पाई थी.
पार्टी को पूरे उत्तर प्रदेश में 2,05,232 वोट मिले, जो कुल वोटों का केवल 0.2 प्रतिशत था.