इलाज करने के दौरान कोरोना की चपेट में आईं डॉक्टर खदीजा नहीं रहीं, दूसरी लहर में 244 डाॅक्टरों की मौत

Story by  मुकुंद मिश्रा | Published by  [email protected] | Date 17-05-2021
इलाज करने के दौरान कोरोना की चपेट में आईं डाॅक्टर खदीजा नहीं रहीं
इलाज करने के दौरान कोरोना की चपेट में आईं डाॅक्टर खदीजा नहीं रहीं

 

आवाज द वाॅयस  /नई दिल्ली

सुबह-सुबह देवास से एक बुरी खबर आई. सात महीने की गर्भवती होने के बावजूद कोरोना संक्रमितों के इलाज में लगी रहीं डाॅक्टर खदीजा शेख अब इस दुनिया में नहीं रहीं. आज सुबह उनका निधन हो गया.
 
कोरोना संक्रमितों के इलाज के दौरान वह खुद इस महारोग की चपेट में आ गई थीं. तबियत अधिक बिगड़ने पर उन्हें उसी अस्पताल में भर्ती कराया गया था, जहां वह कोरोना मरीजांें की तीमारदारी में जुटी थीं.
 
उल्लेखनीय है कि डॉक्टर खदीजा शेख ब्लड बैंक में मेडिकल ऑफिसर और देवास के शासकीय महात्मा गांधी जिला चिकित्सालय में पदस्थापित थीं.इस अस्पताल में वह कोरोना पीड़ितों का इलाज कर रही थीं.
 
डॉक्टर खदीजा 7 माह की गर्भवती होने के बावजूद निरंतर अपनी ड्यूटी दे रही थीं. आज सुबह वह खुद कोरोना से जंग हार गईं और मौत हो गई. पुनीत कुमार सिंह सहित कई लोगों ने इस बारे में सोशल मीडिया पर जानकारी और  तस्वीर साझा कर उनकी मौत पर चिंता और श्रद्धांजलि अर्पित की है.
 

दूसरी लहर में  244 डाॅक्टरों की मौत

देश में कोरोना वायरस की दूसरी लहर का कहर जारी है. महामारी के चलते मचे कोहराम के बीच राहत के संकेत भले ही मिल रहे हो, लेकिन इन सब के बीच इस लहर में देशभर में अब तक कुल 244 डॉक्टर कोरोना सक्रमण के कारण अपनी जान गंवा चुके हैं.

इंडियन मेडिकल एसोसिएशन के डेटा के अनुसार, अब तक कुल 28 महिला डॉक्टरों की जान गई वहीं 216 पुरुष डॉक्टरों की जान कोरोना संक्रमण से गई है. इतना ही नहीं इस कोरोना की दूसरी लहर में बिहार में 49 डॉक्टरों की जान एक ही दिन में गई.
 
इंडियन मेडिकल एसोसिएशन के राष्ट्रीय अध्यक्ष डॉ जे.ए. जयालाल ने आईएएनएस से बात करते हुए बताया कि, कोरोना की दूसरी लहर में कुल 244 डॉक्टरों की जान अब तक गई है. इस साल बिहार में अधिक्तर डॉक्टरों की जान गई। इसके अलावा उत्तरप्रदेश और दिल्ली में भी कई डॉक्टरों की जान गई है। पिछले साल कुल 756 डॉक्टरों ने इस महामारी में अपनी जान गवाईं थी.
 
इस महामारी में करीब 30 साल से 55 साल तक के डॉक्टरों की जान ज्यादा गई है। हालांकि इसमें बुजुर्ग डॉक्टर भी शामिल है. लेकिन पिछले साल के मुकाबले इस साल युवा डॉक्टरों की जान ज्यादा गई है। इस साल 3 से 4 गर्भवती डॉक्टर की जान भी संक्रमण के कारण गई है.
 
कोरोना संक्रमण से जान गवाने वाले युवा डॉक्टरों की बात करें तो दिल्ली निवासी 25 वर्षीय अनस मुजाहिद है. भुवनेश्वर निवासी 31 वर्षीय डॉ सरिता भांजा हैं. इसके अलावा लखनऊ निवासी 35 वर्षीय जुबेर अली शामिल हैं.
 
डेटा के अनुसार इन डॉक्टरों में सबसे ज्यादा उम्र में 90 वर्षीय डॉक्टर एस सत्यमूर्ति है जो कि विशाखापटनम निवासी थे. इसके अलावा उत्तरप्रदेश नुवासी डॉ जे के मिश्रा जिनकी उम्र 85 साल, साथ ही कलकत्ता निवासी डॉ अनिल कुमार रक्षित जिनकी उम्र 87 साल थी.