दिल्ली हाईकोर्ट ने ऑक्सीजन की कमी का झूठा अलार्म देने वालों को दी चेतावनी

Story by  मुकुंद मिश्रा | Published by  [email protected] | Date 05-05-2021
दिल्ली उच्च न्यायालय
दिल्ली उच्च न्यायालय

 

नई दिल्ली. दिल्ली उच्च न्यायालय ने बुधवार को कोविड-19 मामलों में तेजी से वृद्धि के कारण उत्पन्न होने वाली समस्याओं पर सुनवाई के दौरान ऑक्सीजन की कमी के बारे में झूठा अलार्म के खिलाफ एक मरीज को चेतावनी दी.

जस्टिस विपिन सांघी और रेखा पल्ली की खंडपीठ ने आईबीएस अस्पताल में एक डॉक्टर के वकील को चेतावनी दी कि अगर उसने फिर से गलत अलार्म लगाया, तो अदालत जुर्माना लगाएगी.

कोर्ट ने कहा कि इस तरह के झूठे अलार्म नहीं देने जाने चाहिए, क्योंकि वे पूरी व्यवस्था को बाधित करते हैं. मरीज ने अदालत को बताया कि अस्पताल में ऑक्सीजन नहीं थी. इसलिए उसने एसओएस अलार्म बजाया.

दिल्ली सरकार की ओर से पेश वरिष्ठ वकील राहुल मेहरा ने अदालत को सूचित किया कि उनके निर्देशों के अनुसार, आईबीएस अस्पताल में कल सुबह तक ऑक्सीजन है.

अदालत ने कहा, “गलत अलार्म न बजाएं. यह बहुत गलत परामर्श है. हम लागत का जुर्माना लगाएंगे.”

अस्पताल प्रबंधन ने अदालत को सूचित किया कि फिलहाल ऑक्सीजन की कोई कमी नहीं है.

इस बीच एमिकस क्यूरीए राजशेखर राव ने सुझाव दिया कि रात में एसओएस की अधिक संख्या में हेल्पलाइन होनी चाहिए.

अदालत राष्ट्रीय राजधानी में कोविड-19 मामलों में अभूतपूर्व उछाल के कारण उत्पन्न विभिन्न मुद्दों पर अधिवक्ता राकेश मल्होत्रा द्वारा दायर याचिका पर सुनवाई कर रही थी. यह मामला 14 जनवरी को निपटाया गया था, लेकिन राष्ट्रीय राजधानी कोरोनोवायरस संक्रमण की दूसरी लहर की चपेट में आने के बाद, अदालत ने अप्रैल में फिर से याचिका को पुनर्जीवित किया.