न्यूयॉर्क
हॉलीवुड में इन दिनों आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (एआई) को लेकर डर का माहौल बना हुआ है। खास तौर पर स्क्रिप्ट रीडर — यानी वे लोग जो फिल्मों या वेब सीरीज़ की कहानियाँ पढ़कर उनमें सुधार के सुझाव देते हैं — सबसे ज्यादा असमंजस में हैं। उन्हें डर है कि एआई जल्द ही उनका काम छीन सकता है।
वैरायटी की एक अंतरराष्ट्रीय रिपोर्ट के अनुसार, यह जानने के लिए एक प्रयोग भी शुरू किया गया है कि कहानी पर बेहतर प्रतिक्रिया कौन देता है — इंसान या एआई।
हॉलीवुड फिल्म निर्माता मौरिस चैपडेलाइन के पास हमेशा स्क्रिप्ट्स का ढेर लगा रहता है। वे हर हफ़्ते तीन स्क्रिप्ट्स खुद पढ़ते हैं और बाकी अपने इंटर्न्स या फिल्म छात्रों को भेज देते हैं। फिर भी, इतनी सारी रिपोर्टों और विश्लेषणों को संभालना उनके लिए चुनौती बन गया था।
एक कार्यक्रम में, उनके दोस्तों ने सुझाव दिया कि वे अपने काम का बोझ कम करने के लिए एआई की मदद लें। चैपडेलाइन शुरू में हिचकिचाए। उन्होंने कहा, “मैं एआई से दूरी बनाए रखना चाहता था। इसके कुछ पहलू मुझे वाकई डराते हैं।”
लेकिन धीरे-धीरे उन्होंने ‘ग्रीनलाइट कवरेज’ नाम की एआई सेवा का इस्तेमाल शुरू किया। यह टूल उनकी लंबी स्क्रिप्ट्स को तेजी से पढ़कर उनका सारांश तैयार करता है। साथ ही कहानी, पात्रों के विकास, गति और संवादों के आधार पर 1 से 10 तक अंक भी देता है — और अंत में यह तय करने की सिफारिश करता है कि स्क्रिप्ट को फिल्म में बदला जाए या नहीं।
चैपडेलाइन को यह देखकर हैरानी हुई कि एआई की रिपोर्ट अक्सर इंसानी विश्लेषण से ज्यादा कारगर साबित होती है। उन्होंने कहा, “इससे मेरी स्क्रिप्ट पढ़ने की गति लगभग दोगुनी हो गई है। यह समय बचाने का बेहतरीन तरीका है, और एआई लगातार बेहतर होता जा रहा है।”
आज हॉलीवुड में एआई का इस्तेमाल कई गुना बढ़ चुका है। कई पटकथा लेखक अपने ड्राफ्ट की गुणवत्ता जांचने के लिए ‘ग्रीनलाइट’ जैसे टूल्स का इस्तेमाल करने लगे हैं। यही वजह है कि स्क्रिप्ट रीडर्स को अब अपनी नौकरी की चिंता सताने लगी है।
सिर्फ स्क्रिप्ट विश्लेषण ही नहीं, बल्कि फिल्म निर्माण के कई अन्य चरणों में भी एआई की भूमिका बढ़ रही है — जैसे वीएफएक्स (Visual Effects) को तेज़ और सस्ता बनाना, अभिनेताओं की उम्र कम दिखाने के लिए उन्नत सॉफ़्टवेयर का उपयोग करना, कृत्रिम अभिनेता या बैकग्राउंड कैरेक्टर तैयार करना, और कैमरा एंगल या शॉट कंपोज़िशन के लिए रीयल-टाइम सुझाव देना।
यह सब दर्शाता है कि एआई अब हॉलीवुड की कार्यप्रणाली का एक अनिवार्य हिस्सा बन चुका है — लेकिन इसके साथ ही, यह कई लोगों के लिए भय और अनिश्चितता की वजह भी बन गया है।