केरल नीट सेंटर में छात्राओं के अपमान का मामला गरमाया

Story by  एटीवी | Published by  [email protected] | Date 30-10-2022
केरल नीट सेंटर में छात्राओं के अपमान का मामला गरमाया
केरल नीट सेंटर में छात्राओं के अपमान का मामला गरमाया

 

तिरुवनंतपुरम.

 केरल के कोल्लम जिले के चादयामंगलम के माथोर्मा इंस्टीट्यूट ऑफ इंफॉर्मेशन टेक्नोलॉजी में इस साल नेशनल एलिजिबिलिटी कम एंट्रेंस टेस्ट (एनईईटी) देने पहुंची लड़कियों को शमिर्ंदगी और अपमान का सामना करना पड़ा.

परीक्षा हॉल में प्रवेश करने से पहले निरीक्षकों उन्हें अपने अंडरगारमेंट्स को हटाने के लिए मजबूर किया. जब तलाशी प्रक्रिया के मेटल डिटेक्शन चरण में उन्हें अपने अंडरक्लॉथ हटाने के लिए मजबूर किया गया तो सौ से अधिक छात्राओं को अपमान का सामना करना पड़ा.

छात्राओं ने कहा कि उन्हें परीक्षा देने से पहले मनोवैज्ञानिक आघात सहना पड़ा। नीट के कोड के अनुसार विद्यार्थियों को परीक्षा केंद्र में किसी भी धातु की वस्तु पहनने की अनुमति नहीं है.

जूते की भी अनुमति नहीं है. चप्पल और सैंडल पहन सकते हैं। मामले में कोल्लम जिले के सूरनाड की एक छात्रा के पिता ने पुलिस में शिकायत दर्ज कराई.

मीडियाकर्मियों से बात करते हुए उन्होंने कहा कि मेरी बेटी आठवीं कक्षा से ही नीट की तैयारी कर रही थी, लेकिन इस घटना ने उसके सपनों को चकनाचूर कर दिया.

शिकायत के बाद चादयमंगलम पुलिस ने केस दर्ज कर 19 जुलाई को पांच महिलाओं को गिरफ्तार कर लिया. गिरफ्तार किए गए लोगों में मार्थोमा इंस्टीट्यूट ऑफ टेक्नोलॉजी के दो कर्मचारी और निजी एजेंसी के तीन कर्मचारी शामिल हैं.

छात्रा ने अपनी शिकायत में कहा कि 100 से अधिक छात्राओं ने मामले में चुप्पी साधे रखी। उनकी अंडरगारमेंट परीक्षा हॉल के बाहर एक टोकरी में फेंक दी गई.

वह अपने आंतरिक वस्त्र के बिना परीक्षा देने के लिए शर्मिदा थी. एनईईटी आयोजित करने वाली नेशनल टेस्टिंग एजेंसी (एनटीए) ने कहा कि ऐसा कोई नियम नहीं है कि परीक्षा में अंडरगारमेंट्स को हटाया जाए.

दिलचस्प बात यह है कि एनटीए द्वारा परीक्षा ड्यूटी के लिए नियुक्त सुरक्षा कर्मचारियों को इस तरह की परीक्षा के दौरान छात्राओं को होने वाले मानसिक आघात के बारे में पता नहीं था.

केरल के उच्च शिक्षा मंत्री डॉ. आर. बिंदू ने व्यक्तिगत रूप से इस मुद्दे पर केंद्रीय शिक्षा मंत्री से शिकायत की थी और बाद में केंद्रीय विदेश राज्य मंत्री वी. मुरलीधरन ने भी इस मुद्दे को उठाया था.

केरल के एक सरकारी कॉलेज में प्रोफेसर सुभद्रा एन ने आईएएनएस से कहा कि हम उम्मीद करते हैं कि भविष्य में इस तहर की घराष्ट्रीय/बच्चों के लिए कोई देश नहीं केरल नीट सेंटर में लड़कियों का अपमान नेशनल टेस्टिंग एजेंसी के लिए गरमा गया है.