आवाज द वाॅयस /अलीगढ़
अलीगढ़ मुस्लिम विश्वविद्यालय के जवाहरलाल नेहरू मेडिकल कॉलेज के सभागार में एक विशेष समारोह में एमबीबीएस और बीडीएस पाठ्यक्रमों में दाखिला लेने वाले छात्रों ने पारंपरिक सफेद कोट पहनकर चिकित्सा शिक्षा क्षेत्र में प्रवेश का जश्न मनाया. इस अवसर पर विशिष्ट अतिथि एएमयू के कुलपति प्रो तारिक मंसूर ने छात्रों को बधाई दी.
छात्रों को संबोधित करते हुए उन्होंने कहा, ‘‘मैं यह कहना चाहूंगा कि एएमयू प्रशासन और यहां के शिक्षक आपके लिए बहुत आभारी हैं कि आप लोगों को खुशी देना और उनकी सेवा करना चाहते हैं.
उन्होंने कहा कि जेएन मेडिकल कॉलेज को हाल में एनआईआरएफ द्वारा देश के शीर्ष 15मेडिकल कॉलेजों में शामिल किया गया है. जेडए डेंटल कॉलेज को भी शीर्ष डेंटल कॉलेजों में स्थान मिला है.
उन्होंने कहा कि यह बहुत खुशी की बात है कि आपने इन संस्थानों को देश के शीर्ष मेडिकल और डेंटल कॉलेजों में प्री-क्लिनिकल स्टडीज से क्लिनिकल हेल्थ साइंसेज में विशेषज्ञता के लिए चुना है.
प्रोफेसर मंसूर ने कहा कि चिकित्सा और दंत चिकित्सा का पेशा मरीजों की देखभाल के साथ कई अन्य चीजों से जुड़ा है जो आप एक स्वास्थ्य कार्यकर्ता के रूप में कर सकते हैं. लेकिन सबसे महत्वपूर्ण बात यह है कि रोगी की स्थिति और उपचार के बारे में सटीक जानकारी साझा करके रोगी और उसके परिवार के साथ पूरी तरह से ईमानदार रहें.
फैकल्टी ऑफ मेडिसिन के डीन प्रोफेसर राकेश भार्गव ने छात्रों को हिप्पोक्रेटिक ओथ दिलाते हुए छात्रों से आग्रह किया कि वे अपनी क्षमता के अनुसार बीमारों का इलाज करें. मरीज की निजता बनाए रखें और अगली पीढ़ी को दवा के रहस्य सिखाएं.
उन्होंने छात्रों को अपने मुद्दों के प्रति गंभीर होने के लिए प्रोत्साहित किया. प्रोफेसर भार्गव ने भी स्वागत भाषण दिया. जेएनएमसी के प्रिंसिपल प्रोफेसर शाहिद अली सिद्दीकी ने कहा कि यह बहुत खुशी की बात है कि दो साल की महामारी के बाद एमबीबीएस और बीडीएस के नए छात्र आखिरकार अपने सफेद कोट का जश्न मना रहे हैं.
मेरा मानना है कि जेएनएमसी और जेडएडीसी में वर्षों का अनुभव आपको स्वास्थ्य संबंधी चुनौतियों का प्रभावी ढंग से सामना करने के लिए तैयार करेगा.
इस मौके पर राजेंद्र कुमार तिवारी, प्रिंसिपल प्रोफेसर, जेडएडीसी ने जोर देकर कहा कि कोविड के बाद मेडिकल और डेंटल के प्रथम वर्ष के छात्र के रूप में, आप पिछले दो वर्षों के संघर्षों और बेहतर स्वास्थ्य देखभाल पर विचार करने में सक्षम होंगे.
कार्यक्रम का संचालन चिकित्सा शिक्षा विभाग की समन्वयक प्रो सीमा हकीम ने किया. धन्यवाद प्रो सायरा मेहनाज ने दिया. कार्यक्रम के आयोजन में डॉ अली जाफर आबिदी ने महत्वपूर्ण भूमिका निभाई. इस कार्यक्रम में जेएनएमसी और जेडएडीसी के विभिन्न विभागों के प्रमुख, फैकल्टी, रेजिडेंट डॉक्टर और छात्र और उनके माता-पिता शामिल हुए.